Krishna Vandana : आ इन डूबती नब्जों का सहारा बन जा - Ranjan Kumar - Ranjan Kumar Dil ❤ Se - Poetry and Works of Ranjan Kumar

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Wednesday, August 21, 2019

Krishna Vandana : आ इन डूबती नब्जों का सहारा बन जा - Ranjan Kumar


Krishna

आ इन डूबती नब्जों का सहारा बन जा
दम तोडती उम्मीदों का किनारा बन जा !

एक अंधेरी रात है ,उम्मीद नहीं अब कोई,
पथ दिखलाने को तू एक सितारा बन जा !

अब तो वफाओं पे भी ऐतबार नहीं होता है,
कहते हैं लोग मुझे तू भी आवारा बन जा !

तेरे बिन अब तो कौन रास रचाए कान्हा,
नफरतों की दुनिया में जश्ने बहारा बन जा !

देख मेरी दुनिया में  हर तरफ अँधेरे हैं ,
रौशनी मिलेगी तभी तू जो हमारा बन जा !

आ इन डूबती नब्जों का सहारा बन जा
दम तोडती उम्मीदों का किनारा बन जा !!

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